मैं हमेशा कहती हूँ कि मुझे भागते हुए, नाचते हुए, हँसते हुए जीना है। मुझे पैर घसीटकर नहीं चलना और न ही दबे पाँव चलना है।और कभी किसी को अपनी मस्त चाल में चलते देखा है तो देखा होगा उसके पीछे बहुत कुत्ते भागते हैं। ज़ोर ज़ोर से भौंकते हैं, कभी कभी कपड़े तक फाड़ देते हैं। और कभी कभी तो काट भी लेते हैं।
मगर हमें न तो चाल बदलनी है और न ही हर उस कुत्ते को जो भौंक रहा है, उसपे पत्थर उछालने हैं। उससे उनका कुछ नहीं जायेगा, उनकी तो गली वही है, उसे उधर ही रहना है, उसका काम हर आने जाने वाले को भौंकना ही है, मगर हम कहीं पहुँचने में देर कर देंगे।
हमें बस कहीं कहीं साँस लेने के लिए जब रुकना है तो सेफ़्टी इंजेक्शन लगवा लेने हैं और फिर अपनी मस्त चाल ही चलना है।
और यकीं मानो, कुछ देर बाद ये भौंकना संगीत लगेगा। इसी संगीत पर और मस्ती के साथ नाचना, झूमना अच्छा लगने लगेगा। तुम्हें मज़ा आने लगेगा!
#JassiSangha